जयपुर में आयकर विभाग ने मंगलवार को तीन प्रमुख कारोबारी समूहों पर छापे मारे। यह राजस्थान की सबसे बड़ी आयकर छापेमारी हैं। दो संपत्ति डेवलपर्स और एक जौहरी से संबंधित 28 विभिन्न स्थानों पर एक साथ छापे मारे गए। IT टीमों में विभाग के 200 से अधिक अधिकारी और कर्मचारी शामिल थे।
सूत्रों ने बताया कि छापे के दौरान सिविल लाइंस, अजमेर रोड, आमेर रोड, जल महल, ब्रह्मपुरी और कई अन्य इलाकों में अलग-अलग जगहों पर तलाशी ली गई। प्रारंभिक रिपोर्टों के अनुसार, दो संपत्ति डेवलपर्स गोकुल कृपा बिल्डर्स और चौरड़िया समूह हैं। अन्य व्यवसाय समूह नवरतन अग्रवाल के स्वामित्व वाली सिल्वर आर्ट प्लेस है; हालाँकि, IT विभाग के अधिकारियों को व्यवसायों की पहचान की पुष्टि करना अभी बाकी है।
इन व्यावसायिक समूहों से संबंधित 28 स्थानों से दस्तावेज और राजस्व रिकॉर्ड जब्त किए गए थे।
अब तक 1400 करोड़ की संपति मिली
सूत्रों ने कहा कि कर चोरी की खबरों के बीच कई प्रमुख व्यवसाय आईटी विभाग के रडार पर थे।
जयपुर में 3 प्रमुख व्यापारिक समूहों पर आईटी छापे से 1400 करोड़ रुपये के बेहिसाब लेनदेन का पता चलता है। इनमें से 700 करोड़ का ख़ज़ाना सिल्वर आर्ट ग्रुप के मालिक के घर मिली सुरंग से मिला हैं। तथा दो अन्य व्यापारियों के पास से लगभग 1000 करोड़ की अघोषित आय सामने आई है। इनके कार्यालयों में cctv फुटेज लगी होने के कारण विभाग को सारी जानकारी मिल गई गोकुल ग्रुप के फुटेज से कर्मचारियों को नोट गिनती करते हुए देखा गया था। जिसमें 200 करोड़ का लेनदेन सामने आया है। अधिकारियों ने सभी cctv फुटेज बरामद कर लिए हैं।
जांच अभी भी जारी…
रिपोर्टों के अनुसार, सुरक्षा के लिए IT विभाग की टीमों के साथ 100 से अधिक गार्ड। छापे सुबह शुरू हुए और देर रात तक जारी रहे। IT अधिकारी अभी तक इस बात की पुष्टि नहीं कर रहे थे कि कर चोरी का सुझाव देने वाले कोई दस्तावेज बरामद हुए हैं या नहीं। उनका कहना है कि दस्तावेजों की छानबीन की जा रही है।