उदयपुर। जल संसाधन मंत्री सुरेश सिंह रावत ने कहा कि वैदिक काल से ही भारत में वर्षा जल को बांध और एनीकट में रोककर जल भंडारण की परंपरा रही है। अब मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा के कुशल नेतृत्व में हमारी सरकार भी विकास भी और विरासत भी ध्येय अनुरूप राजस्थान जल नीति के लिए तेजी से कार्य कर रही हैं। रावत सोमवार को बांध सुरक्षा, पुनर्वास एवं बांध सुरक्षा अधिनियम, 2021 पर राज्य स्तरीय सम्मेलन के उद्घाटन समारोह को सम्बोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि राजस्थान जैसे जल न्यूनता वाले राज्य में बांधों में सहेजी जल की एक-एक बूंद अमृत के समान है। इसी दृष्टि से राज्य सरकार बांधों को राज्य की आर्थिक समृद्धि का सूचक और मानवीय महत्ती आवश्यकता मानते हुए उनके बेहतर प्रबंधन की दिशा में कार्यरत है।
केन्द्रीय जल आयोग के मुख्य अभियंता राकेश कश्यप ने कहा कि केन्द्र और राज्य सरकारों द्वारा बांधों को अधिक सुरक्षित बनाने के प्रयास किए जा रहे हैं। उद्घाटन सत्र के बाद बांध सुरक्षा एवं प्रबंधन में राज्य सरकार का दृष्टिकोण, बांध सुरक्षा अधिनियम के क्रियान्वयन में चुनौती व ड्रिप की भूमिका, बेस्ट प्रैक्टिस फॉर डैम सेफ्टी मैनेजमेंट एट बीसलपुर डैम अंडर ड्रिप, डैम रिहैबिलिटेशन वर्कर्स एट माही डैम अंडर ड्रिप जैसे सत्रों में विशेषज्ञों ने विचार प्रस्तुत किए।